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विश्वकर्मा परिवार की नवनिर्मित होटल में आग लगी नहीं बल्कि लगाई गई
9-10 जनवरी की दरम्यानीरात बरगवां क्षेत्र में हुई थी वारदात

कटनी। शहर के बरगवां क्षेत्र स्थित चार मंजिला इमारत में 9-10 जनवरी की दरमियानी रात हुई भीषण आगजनी के मामले में हैरान करने वाले तथ्य सामने आए हैं। व्यवसायिक इमारत में आग शार्ट सर्किट या किसी अन्य कारण से नहीं लगी थी बल्कि सुनियोजित ढंग से लगाई गई थी। इस वारदात को एक नकाबपोश ने अंजाम दिया था। तथ्य सामने आने के बाद रंगनाथ नगर थाना पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ प्रकरण दर्ज किया है। पूरे मामले की तह तक पहुंचने के लिए पुलिस जांच को आगे बढ़ा रही है। उल्लेखनीय है कि आधी रात को अचानक इमारत पूरी तरह से आग के गोले में तब्दील हो गई थी। स्थिति की गंभीरता को देखते हुए एक दर्जन फायर ब्रिगेड को मौके पर लगाया गया, जिनकी मदद से चार घंटे बाद आग पर काबू पाया जा सका था। शुरूआती दौर में शार्ट सर्किट से आग लगने की बात सामने आ रही थी लेकिन दो दिन बाद भवन स्वामी अशोक विश्वकर्मा ने एक आवदेन रंगनाथ थाने में दिया और जांच की मांग की। जिसके बाद पुलिस ने जांच शुरू की तो पता चला कि नकाबपोश ने आग लगाई थी। अब पुलिस ने अज्ञात आरोपी के खिलाफ अपराध क्रमांक 45/25 में बीएनएस की धारा 326(जी) के तहत प्रकरण दर्ज किया है।
एटीएम के सीसीटीवी कैमरों की फुटेज से हुआ खुलासा
दरअसल आगजनी वाले भवन में पंजाब एंड सिंध बैंक है और उसका एटीएम भी संचालित होता है। पुलिस ने जांच शुरू की तो पाया कि आगजनी में एटीएम की सीसीटीवी की रिकार्डिंग खराब हो गई है। उसके बाद उसे रिकवर करने का प्रयास किया गया, जिसमें सफलता मिल गई। पुलिस ने सीसीटीवी के फुटेज की जांचा कि तो पाया कि रात 12 बजे के बाद एक नकाबपोश एटीएम में पहुंचता है और उसमें आग लगाता है। आग बाद में धीरे-धीरे बड़ा रूप ले लेती और पूरी बिल्डिंग में फैल जाती है, जिसके बाद स्थिति नियंत्रण से बाहर हो जाती है।
सब कुछ जलकर हो गया था खाक
इस चार मंजिल इमारत में बैंक, रेस्टोरेंट, शोरूम सहित एक दर्जन के 28 करीब व्यवसायिक प्रतिष्ठान संचालित हो रहे थे। आगजनी की घटना में सभी जलकर खाक हो गए थे। एक रेस्टोरेंट ऐसा भी था जिसका 15 जनवरी को उद्घाटन होना था और वो भी आग की चपेट मे आकर खाक हो गया था। बैंक को छोड़कर आज तक कोई भी के प्रतिष्ठान पुन: शुरू नहीं हो सका है। वहीं भवन स्वामी अभी भी भवन को मरम्मत कराने में लगा है।
आरोपी की शिनाख्त में जुटी पुलिस
पुलिस ने करीब एक माह की जांच में हादसा या वारदात की स्थिति को स्पष्ट कर लिया है लेकिन अभी इस बात की पुष्टि नहीं हुई कि नकाबपोश कौन था। उसकी पहचान करने के लिए शहर के अलग-अलग हिस्से के सीसीटीवी खंगाले जा रहे हैं। अभी तक कोई ठोस साक्ष्य नहीं मिले हैं, जिसके आधार पर पुलिस आरोपी की पहचान कर सके। पुलिस का कहना है कि मामले की जांच जारी है।
दरअसल आगजनी वाले भवन में पंजाब एंड सिंध बैंक है और उसका एटीएम भी संचालित होता है। पुलिस ने जांच शुरू की तो पाया कि आगजनी में एटीएम की सीसीटीवी की रिकार्डिंग खराब हो गई है। उसके बाद उसे रिकवर करने का प्रयास किया गया, जिसमें सफलता मिल गई। पुलिस ने सीसीटीवी के फुटेज की जांचा कि तो पाया कि रात 12 बजे के बाद एक नकाबपोश एटीएम में पहुंचता है और उसमें आग लगाता है। आग बाद में धीरे-धीरे बड़ा रूप ले लेती और पूरी बिल्डिंग में फैल जाती है, जिसके बाद स्थिति नियंत्रण से बाहर हो जाती है।
सब कुछ जलकर हो गया था खाक
इस चार मंजिल इमारत में बैंक, रेस्टोरेंट, शोरूम सहित एक दर्जन के 28 करीब व्यवसायिक प्रतिष्ठान संचालित हो रहे थे। आगजनी की घटना में सभी जलकर खाक हो गए थे। एक रेस्टोरेंट ऐसा भी था जिसका 15 जनवरी को उद्घाटन होना था और वो भी आग की चपेट मे आकर खाक हो गया था। बैंक को छोड़कर आज तक कोई भी के प्रतिष्ठान पुन: शुरू नहीं हो सका है। वहीं भवन स्वामी अभी भी भवन को मरम्मत कराने में लगा है।
आरोपी की शिनाख्त में जुटी पुलिस
पुलिस ने करीब एक माह की जांच में हादसा या वारदात की स्थिति को स्पष्ट कर लिया है लेकिन अभी इस बात की पुष्टि नहीं हुई कि नकाबपोश कौन था। उसकी पहचान करने के लिए शहर के अलग-अलग हिस्से के सीसीटीवी खंगाले जा रहे हैं। अभी तक कोई ठोस साक्ष्य नहीं मिले हैं, जिसके आधार पर पुलिस आरोपी की पहचान कर सके। पुलिस का कहना है कि मामले की जांच जारी है।