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मिलिए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की शेरनी से: नेहा भंडारी के सामने भाग खड़ी हुई पाकिस्तानी सेना

मिलिए 'ऑपरेशन सिंदूर' की शेरनी से: नेहा भंडारी के सामने भाग खड़ी हुई पाकिस्तानी सेना

मिलिए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की शेरनी से: नेहा भंडारी के सामने भाग खड़ी हुई पाकिस्तानी सेना। ऑपरेशन सिंदूर के दौरान 6 महिला कांस्टेबल भी सीधे पाकिस्तानी फायरिंग का जवाब दे रही थीं. इनकी मुस्तैदी की वजह से न केवल दुश्मन की साजिश नाकाम हुई बल्कि पाकिस्तानी सेना को अपनी चौकियां छोड़कर पीछे भागना पड़ा. आइये जानें ये 6 महिला कांस्टेबल कौन हैं और इनकी कहानी क्या है।

बीएसएफ की असिस्टेंट कमांडेंट नेहा भंडारी ने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तानी गोलीबारी का मुंहतोड़ जवाब दिया. नेहा की तैनातीजम्मू के अखनूर सेक्टर में थी.पाकिस्तानी सीमा से महज 150 मीटर की दूरी पर तैनात नेहा ने अपनी सैन्य टुकड़ी के साथ पाकिस्तान के 3 पोस्टों को हमेशा के लिए नेस्तनाबूद कर दिया. उत्तराखंड से ताल्लुक रखने वाली नेहा अपने परिवार में तीसरी पीढ़ी की अधिकारी हैं. उनके दादा, पिता और मां भारतीय सेना में अपनी सेवाएं दे चुके हैं.

नेहा ने बताया है किसीमा पर डटे रहना और दुश्मन के पैंतरे को नाकाम करना उनके लिए गर्व की बात थी. उनके साथ हथियारों से लैस 6 महिला कांस्टेबल सीधे फायरिंग पोजीशन में तैनात थीं. बकौल नेहा, सीमापार से हो रही गोलाबारी का इतना करारा जवाब दिया गया कि दुश्मन अपनी पोस्ट छोड़कर भागने को मजबूर हुआ. नेहा के अलावाकांस्टेबल शंकरी दास ने बताया कि उन्हें तैनाती से पहले सीनियर अधिकारियों ने बताया था कि सीमापार से जोरदार फायरिंग हो सकती है. जैसे ही फायरिंग शुरू हुई, हमनें भी जवाबी कार्रवाई शुरू कर दी मिलिए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की शेरनी से: नेहा भंडारी के सामने भाग खड़ी हुई पाकिस्तानी सेना

फ्रंट पर रहने का विकल्प खुद चुना!

नेहा और शंकरी दास के अलावाकांस्टेबल स्वप्ना रथ, अनिता, सुमी, मिलकीत कौर और मंजीत कौर भी सीमावर्ती चौकियों पर डटी रहीं और हर हमले का करारा जबाब दिया.बीएसएफ के आईजी शशांक आनंद ने महिला सुरक्षाबलों की भूमिका की सराहना की. उन्होंने कहा कि महिला जवानों के पास बटालियन हेडक्वाटर जाने का विकल्प था. इसके बावजूद, उन्होंने फ्रंट चौकियों पर रहने का रास्ता चुना और दुश्मन की हर कोशिश का नाकाम कर दिया मिलिए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की शेरनी से: नेहा भंडारी के सामने भाग खड़ी हुई पाकिस्तानी सेना

पाकिस्तानी सेना को अपनी चौकियां छोड़कर पीछे भागना पड़ा

इस पूरी कवायद में बीएसएफ ने पाकिस्तानी गोलीबारी के जवाब में 76 पाकिस्तानी चौकियों, 42 महत्वपूर्ण डिफेंस ठिकानों, 3 आतंकी लॉन्च पैड को हमेशा के लिए नष्ट कर दिया. सीमा पर पाकिस्तानी गोलाबारी का मक्सद 40 से 50 आतंकियों की घुसपैठ को कवर देना था, लेकिन बीएसएफ की सटीक जवाबी कार्रवाई से न केवल दुश्मन की साजिश नाकाम हुई बल्कि पाकिस्तानी सेना को अपनी चौकियां छोड़कर पीछे भागना पड़ा. महिला जवानों की बहादुरी ने ये दिखा दिया है कि वे भी हर मोर्चे पर दुश्मन को धूल चटा सकती हैं.मिलिए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की शेरनी से: नेहा भंडारी के सामने भाग खड़ी हुई पाकिस्तानी सेना

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