कटनी, विजयराघवगढ़, बहोरीबंद में रिपीट होंगी भाजपा की टिकट? एक-एक विधान सभा सीट पर जीत हार के समीकरण तैयार, खास हैं विधायकों की सक्रियता, लोकप्रियता, उम्र, जनाधार और जीतने की संभावना

BJP ने राज्य के एक-एक विधान सभा सीट पर जीत हार के समीकरण को लेकर और वर्तमान विधायकों की सक्रियता, लोकप्रियता, उम्र, जनाधार और जीतने की क्षमता को लेकर कई स्तरों पर व्यापक और बड़े पैमाने पर सर्व करवाए हैं।
पार्टी ने दूसरे राज्यों के नेताओं और खासकर विधायकों को मध्य प्रदेश में उतार दिया है। हर विधान सभा सीट की ग्राउंड जानकारी एकत्र की है। इस आधार पर पार्टी ने अपने वर्तमान विधायकों को बड़े पैमाने पर बदलने का फैसला किया है। इधर बात कटनी की करें तो कटनी जिले में चारों विधानसभा में भाजपा फिर से विधायकों को टिकट देने का मन बना चुकी है।
दरअसल बीते दिनों उत्तरप्रदेश के भाजपा विधायकों के जिले की चारों विधानसभा में दौरे जनता से संवाद कार्यक्रतासों से बातचीत के बाद यह निर्णय लिया जा सकता है। यही नहीं विधायकों की बॉडी लैंग्वेज भी कुछ ऐसा इशारा कर रही है। आपको बता दें कि कटनी जिले के विजयराघवगढ़ में संजय पाठक, कटनी में संदीप जायसवाल, बहोरीबंद से प्रणय पांडे को हरि झंडी मिल चुकी है।
वैसे आपको बता दें कि 2018 की गलतियों से सबक लेते हुए बीजेपी ने इस बार अपने रणनीति में व्यापक बदलाव किया है। पार्टी ने इस बार एक तरफ जहां मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के अलावा अन्य दिग्गज नेताओं को भी चुनाव प्रचार अभियान में आगे रखा है। वहीं, अब एंटी इनकंबेंसी के माहौल को कमजोर करने के लिए पार्टी 40 से ज्यादा विधायकों का टिकट काटने की भी तैयारी कर ली है।
पार्टी इस बार अपने 40 से ज्यादा वर्तमान विधायकों का टिकट काट कर उनकी जगह युवा और नए चेहरे को मौका दे सकती है। इसके जरिए सत्ता विरोधी लहर को मात देकर उन सीटों पर फिर से जीत हासिल की जा सके। हालांकि, टिकट कटने वाले नेताओं की लिस्ट में कुछ ऐसे विधायक भी शामिल हैं, जिनकी उम्र 75 पार हो चुकी है।
गौरतलब है कि 2018 के पिछले विधान सभा चुनाव में बीजेपी को कांग्रेस से थोड़ा ज्यादा वोट हासिल होने के बावजूद राज्य में सिर्फ 109 सीटों पर ही जीत हासिल हो पाई थी। जबकि, कांग्रेस के उम्मीदवार 114 सीटों पर जीते थे।