गुड़ाखू विवाद: शिक्षक की लड़ाई अब CM तक, धमतरी जिले के शासकीय माध्यमिक शाला बरबांधा में तैनात शिक्षक हनुमंत लाल सिन्हा ने स्कूल के हेडमास्टर पर गुड़ाखू का सेवन करने और स्कूल परिसर में गंदगी फैलाने का आरोप लगाया। जब हेडमास्टर को इसकी जानकारी हुई, तो उन्होंने शिक्षक के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई, जिसके बाद हनुमंत को निलंबित कर दिया गया।
छत्तीसगढ़ के धमतरी जिले के शासकीय माध्यमिक शाला बरबांधा में तैनात शिक्षक हनुमंत लाल सिन्हा ने एक गंभीर आरोप लगाते हुए कलेक्ट्रेट में आयोजित जनदर्शन कार्यक्रम में शिकायत दर्ज कराई है। शिक्षक का आरोप है कि उनके स्कूल के हेडमास्टर नियमित रूप से गुड़ाखू का सेवन करते हैं और स्कूल परिसर में ही थूककर गंदगी फैलाते हैं। शिक्षक हनुमंत ने कई बार हेडमास्टर को इस व्यवहार से रोकने की कोशिश की, लेकिन जब कोई फर्क नहीं पड़ा, तो उन्होंने हेडमास्टर का गुड़ाखू करते हुए वीडियो बना लिया।
इस वीडियो के बाद स्थिति उलट गई। शिक्षक हनुमंत का दावा है कि जब हेडमास्टर को वीडियो की जानकारी मिली, तो उन्होंने शिक्षक के खिलाफ शिकायत दर्ज कर दी। हेडमास्टर का आरोप था कि शिक्षक को अंग्रेजी पढ़ानी नहीं आती, जबकि हनुमंत लाल सिन्हा हिंदी के शिक्षक हैं। इस शिकायत के आधार पर शासन ने कार्रवाई करते हुए शिक्षक हनुमंत को ही निलंबित कर दिया। इस निलंबन से आहत शिक्षक अब न्याय की गुहार लगा रहे हैं।
निलंबित शिक्षक मुख्यमंत्री जनदर्शन में करेंगे शिकायत
हनुमंत लाल सिन्हा ने जनदर्शन में कलेक्टर नम्रता गांधी से मिलकर अपने निलंबन के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई और हेडमास्टर के खिलाफ भी सख्त कार्रवाई की मांग की। शिक्षक का कहना है कि अगर उनकी शिकायत पर कार्रवाई नहीं होती है, तो वह मुख्यमंत्री जनदर्शन में पहुंचकर अपनी मांगों को उठाएंगे।
शिक्षक का कहना है कि उन्होंने केवल स्कूल की साफ-सफाई और बच्चों के स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए यह कदम उठाया था, लेकिन अब वे खुद निलंबन का शिकार हो गए हैं। उन्होंने कलेक्टर से न्याय की उम्मीद जताते हुए हेडमास्टर के निलंबन की भी मांग की है।
कलेक्टर ने दिए जांच के आदेश
कलेक्टर नम्रता गांधी ने मामले की गंभीरता को समझते हुए जांच के आदेश दिए हैं। उन्होंने जिला शिक्षा अधिकारी को इस पूरे मामले की जांच कर उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया है। शिक्षक हनुमंत का यह मामला जनदर्शन में काफी चर्चा का विषय बन गया है, और अब सभी की निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि आगे क्या कार्रवाई होती है।