FSSAI का अलर्ट: मध्यप्रदेश में मिलावटी घी माफिया पर FSSAI की सख्त कार्रवाई, सैंपलिंग और लैब टेस्ट कड़ाई से
FSSAI का अलर्ट: मध्यप्रदेश में मिलावटी घी माफिया पर FSSAI की सख्त कार्रवाई, सैंपलिंग और लैब टेस्ट कड़ाई से

FSSAI का अलर्ट: मध्यप्रदेश में मिलावटी घी माफिया पर FSSAI की सख्त कार्रवाई, सैंपलिंग और लैब टेस्ट कड़ाई से।भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (FSSAI) की ओर से विशेष अभियान शुरू किया गया है।
FSSAI का अलर्ट: मध्यप्रदेश में मिलावटी घी माफिया पर FSSAI की सख्त कार्रवाई, सैंपलिंग और लैब टेस्ट कड़ाई से
इसमें हर जिले में हर खाद्य सुरक्षा अधिकारी को दो पैक्ड यानी कंपनियों के घी व तीन लूज घी के सैंपल लेने की जिम्मेदारी दी गई है। हर अधिकारी द्वारा 5 सैंपल लिए जाएंगे। इसमें ब्यूटाइरो-रिफ्रैक्टोमीटर के जरिए घी की गुणवत्ता को परखा जाएगा।
हर जिले से लिए जाएंगे पैक्ड और लूज घी के सैंपल
प्रदेश के हर जिले में खाद्य सुरक्षा अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे बाजार में बिक रहे घी के सैंपल लें। हर अधिकारी को कुल 5 सैंपल लेने हैं, जिनमें से दो पैक्ड घी यानी ब्रांडेड कंपनियों के और तीन लूज (बिना ब्रांड वाले) घी के होंगे। इन सैंपलों को भोपाल की CES लैब और इंदौर की चौकसी लैब में परीक्षण के लिए भेजा जाएगा।
घी की जांच के लिए ब्यूटाइरो-रिफ्रैक्टोमीटर तकनीक का उपयोग किया जाएगा, जिससे यह पता लगाया जाएगा कि उसमें रिफाइंड ऑयल, पाम ऑयल या किसी अन्य सस्ती सामग्री की मिलावट तो नहीं की गई है।
ग्वालियर-चंबल संभाग नकली घी के लिए बदनाम
ग्वालियर-चंबल अंचल नकली घी, मावा और पनीर जैसी खाद्य सामग्रियों में मिलावट के लिए कुख्यात है। भिंड, मुरैना जैसे जिलों में सक्रिय मिलावट माफिया ना सिर्फ प्रदेश बल्कि उत्तर प्रदेश और राजस्थान जैसे पड़ोसी राज्यों में भी माल सप्लाई करता है।
त्योहारों के मौसम में यह मिलावट चरम पर होती है, जिससे आमजन की सेहत पर गंभीर खतरा मंडराता है। इसके बावजूद ग्वालियर में प्रस्तावित फूड टेस्टिंग लैब अब तक शुरू नहीं हो पाई है।
ग्वालियर में अब तक शुरू नहीं हो सकी लैब
ग्वालियर के हुरावली इलाके में फूड लैब के लिए 2019 में भूमिपूजन किया गया था। लेकिन छह साल बीतने के बाद भी यह प्रयोगशाला शुरू नहीं हो सकी है। अब जबकि ढाई करोड़ रुपये की स्वीकृति मिल गई है, उम्मीद जताई जा रही है कि लैब जल्द शुरू होगी और अंचल के जिलों को भोपाल या इंदौर पर निर्भर नहीं रहना पड़ेगा।
जुलाई भर चलेगा घी की जांच का अभियान
ग्वालियर के खाद्य सुरक्षा अधिकारी सतीश कुमार शर्मा ने बताया कि यह अभियान पूरे जुलाई माह तक चलेगा। सैंपलिंग के बाद जैसे ही लैब रिपोर्ट आएगी, एफएसएसएआइ गुणवत्ता मानकों के आधार पर कार्रवाई करेगा। जिन घी उत्पादकों में मिलावट पाई जाएगी, उनके खिलाफ सख्त कानूनी कदम उठाए जाएंगे।