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8th Pay Commission Grow In July: 4 फीसदी वृद्धि की मुहर, वेतन आयोग-पेंशन पर है ये अपडेट

8th Pay Commission Grow In July: 4 फीसदी वृद्धि की मुहर, वेतन आयोग-पेंशन पर है ये अपडेट, केंद्र सरकार के सूत्रों का कहना है, पहली जुलाई से डीए की मौजूदा दर 50 से 54 फीसदी पर पहुंच सकती है। श्रम एवं रोजगार मंत्रालय से संबद्ध कार्यालय, श्रम ब्यूरो द्वारा हर महीने औद्योगिक श्रमिकों के लिए उपभोक्ता मूल्य सूचकांक का संकलन किया जाता है। देश के 88 महत्वपूर्ण औद्योगिक केंद्रों के 317 बाजारों से एकत्रित खुदरा मूल्यों के आधार पर उपभोक्ता मूल्य सूचकांक का संकलन होता है। इस सूचकांक को आगामी महीने के अंतिम कार्यदिवस पर जारी किया जाता है।

लोकसभा चुनाव के बाद केंद्र में मोदी 3.0 सरकार का गठन हो चुका है। लगभग एक करोड़ से अधिक कर्मचारियों और पेंशनरों को पहली जनवरी से देय महंगाई भत्ते में चार फीसदी की वृद्धि की सौगात मिली थी।

इस वृद्धि के साथ डीए की मौजूदा दर 46 से 50 फीसदी पर पहुंच गई। अब पहली जुलाई से एक बार फिर सरकारी कर्मचारियों को डीए में बढ़ोतरी की सौगात मिल सकती है। फरवरी, मार्च व अप्रैल माह के दौरान औद्योगिक श्रमिकों के लिए उपभोक्ता मूल्य सूचकांक की सर्वे रिपोर्ट सकारात्मक है।

फरवरी में यह सूचकांक 0.3 अंक बढ़कर 139.2 अंकों के स्तर पर संकलित हुआ है। मार्च में इस सूचकांक में 0.3 अंक की कमी देखी गई है, लेकिन अप्रैल 2024 का अखिल भारतीय मूल्य सूचकांक (औद्योगिक श्रमिक) 0.5 अंक बढ़कर 139.4 अंकों के स्तर पर संकलित हुआ है। ऐसे में सभव है कि डीए दर में कम से कम चार फीसदी की बढ़ोतरी हो सकती है। इसके अलावा इस माह पेंशन को लेकर वित्त मंत्रालय की कमेटी अपनी रिपोर्ट दे सकती है। आठवें वेतन आयोग के गठन पर भी सरकार, निर्णय ले सकती है।

 

उपभोक्ता मूल्य सूचकांक का संकलन

केंद्र सरकार के सूत्रों का कहना है, पहली जुलाई से डीए की मौजूदा दर 50 से 54 फीसदी पर पहुंच सकती है। श्रम एवं रोजगार मंत्रालय से संबद्ध कार्यालय, श्रम ब्यूरो द्वारा हर महीने औद्योगिक श्रमिकों के लिए उपभोक्ता मूल्य सूचकांक का संकलन किया जाता है। देश के 88 महत्वपूर्ण औद्योगिक केंद्रों के 317 बाजारों से एकत्रित खुदरा मूल्यों के आधार पर उपभोक्ता मूल्य सूचकांक का संकलन होता है। इस सूचकांक को आगामी महीने के अंतिम कार्यदिवस पर जारी किया जाता है। फरवरी 2024 का अखिल भारतीय उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (औद्योगिक श्रमिक) 0.3 अंक बढ़कर 139.2 अंकों के स्तर पर संकलित हुआ है। मार्च 2024 का अखिल भारतीय मूल्य सूचकांक (औद्योगिक श्रमिक) 0.3 अंक घटकर 138.9 अंकों पर संकलित हुआ है। अप्रैल 2024 का अखिल भारतीय मूल्य सूचकांक (औद्योगिक श्रमिक) 0.5 अंक बढ़कर 139.4 अंकों के स्तर पर संकलित हुआ है। फरवरी 2024 के लिए मुद्रास्फीति दर, फरवरी 2023 के 6.16 फीसदी की तुलना में 4.90 फीसदी रही है। मार्च 2024 के लिए मुद्रास्फीति दर, मार्च 2023 के 5.79 फीसदी की तुलना में 4.20 फीसदी रही है। अप्रैल 2024 के लिए मुद्रास्फीति दर, अप्रैल 2023 के 5.09 फीसदी की तुलना में 3.87 फीसदी रही है।
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जनवरी में सीपीआई-आईडब्ल्यू 138.9 पर रहा

जनवरी 2024 के लिए अखिल भारतीय सीपीआई-आईडब्ल्यू 0.1 अंक बढ़कर 138.9 (एक सौ अड़तीस दशमलव नौ) हो गया था। एक महीने के प्रतिशत परिवर्तन के आधार पर, दिसंबर 2023 की तुलना में इसमें 0.07 फीसदी की वृद्धि हुई, जबकि एक साल पहले इसी महीने के दौरान 0.38 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई थी। वर्तमान सूचकांक की वृद्धि में सबसे अधिक योगदान आवास समूह का रहा, जिसने कुल परिवर्तन में 0.48 फीसदी अंक का योगदान दिया है। सूचकांक में वृद्धि हाउस रेंट, लेडीज सूटिंग, कैजुअल वियर, कॉटन साड़ी, ऊनी स्वेटर/पुल ओवर, प्लास्टिक/पीवीसी शूज, सिलाई शुल्क/एम्ब्रॉयडरी, तंबाकू, फॉरेन/रिफाइंड शराब, पान मसाला आदि मदों की कीमतों में वृद्धि के कारण रही। हालांकि, इसके विपरीत प्याज, आलू, टमाटर, बैंगन, अदरक, मटर, गोभी, फूलगोभी, फ्रेंच बींस, भिंडी, केला, अंगूर, पपीता, अनार, ताजा नारियल, मिट्टी का तेल, चारकोल आदि ने सूचकांक में दर्ज वृद्धि को नियंत्रित किया। केंद्र-स्तर पर रानीगंज में अधिकतम 4.2 अंक और इसके बाद रामगढ़ में 2.5 अंकों की वृद्धि दर्ज की गई। अन्य 7 केंद्रों ने 1 से 1.9 अंक, 38 केंद्रों ने 0.1 से 0.9 अंक की वृद्धि दर्ज की थी।

 

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