संविधान दिवस:शासकीय कन्या महाविद्यालय मे लोकतंत्र की आधारशिला को समर्पित एक विशेष आयोजन
संविधान दिवस:शासकीय कन्या महाविद्यालय मे लोकतंत्र की आधारशिला को समर्पित एक विशेष आयोज
कटनी में संविधान दिवस पर एक महत्वपूर्ण कार्यक्रम आयोजित किया गया, जिसने भारतीय संविधान के महत्व और महिमा को रेखांकित किया महाविद्यालय की प्राचार्य डॉ. चित्रा प्रभात ने इस अवसर पर एक प्रेरणादायक संबोधन दिया, जिसने उपस्थित अधिकारियों, कर्मचारियों और छात्राओं के मन में संवैधानिक मूल्यों के प्रति गहरी समझ विकसित की।
अपने संबोधन में डॉ. प्रभात ने भारतीय संविधान की विशिष्टता पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि यह दुनिया का सबसे विशाल और विस्तृत संविधान है, जिसके निर्माण में दो वर्ष, ग्यारह माह और अठारह दिन लगे थे। इस कठिन यात्रा में देश के कानून विशेषज्ञों ने अत्यंत महत्वपूर्ण योगदान दिया, जिन्होंने भारत की विविधता और जटिलताओं को ध्यान में रखते हुए एक समावेशी दस्तावेज तैयार किया।
प्राचार्य ने रेखांकित किया कि संविधान शासन व्यवस्था का आधार है। यह न केवल नियमों का संग्रह है, बल्कि एक ऐसा मार्गदर्शक दस्तावेज है जो देश के प्रत्येक नागरिक के अधिकारों और कर्तव्यों को परिभाषित करता है। उन्होंने छात्राओं को प्रेरित किया कि वे संविधान के मूल्यों को अपने जीवन में उतारें और लोकतांत्रिक आदर्शों के प्रति सम्मान रखें।
कार्यक्रम की एक महत्वपूर्ण गतिविधि संविधान की प्रस्तावना का सामूहिक वाचन था, जिसमें सभी ने एकजुट होकर देश के संवैधानिक आदर्शों को दोहराया। यह क्षण छात्राओं के लिए अत्यंत भावुक और प्रेरक रहा, जिसने उनमें राष्ट्रीय एकता और अखंडता की भावना को मजबूत किया।
समारोह का समापन राष्ट्रगान के साथ हुआ, जिसने देशभक्ति और संवैधानिक मूल्यों के प्रति समर्पण की भावना को और अधिक मजबूत किया। यह कार्यक्रम न केवल एक औपचारिकता थी, बल्कि युवा पीढ़ी में संवैधानिक चेतना जगाने का एक सशक्त माध्यम बना।
महाविद्यालय के कॉन्फ्रेंस हॉल में विवेकानंद कॅरियर मार्गदर्शन समिति, एनएसएस और एनसीसी के संयुक्त तत्वाधान में भी संविधान दिवस आयोजित किया गया । इस कार्यक्रम में मुख्यवक्ता विवेकानंद कॅरियर मार्गदर्शन प्रकोष्ठ की जिला नोडल अधिकारी एवं महाविद्यालय की प्राचार्य डॉ चित्रा प्रभात जी रही है। इस कार्यक्रम का संचालन छात्रा गौरी बहल और खुशी तिवारी ने किया । कार्यक्रम के दौरान क्षमा पटेल, प्रगति शुक्ला, असमा खान, सोनम पटेल, अर्पिता शर्मा, स्नेहा सोनी, शिवानी कुमारी, रिया कुशवाहा ने संविधान पर केन्द्रित अपनी अपनी प्रस्तुतिया दी ।