MP Weather Update: प्रदेशभर में मानसून की एंट्री।अलग-अलग स्थानों पर बनी चार मौसम प्रणालियों के असर से मानसून को जबरदस्त ऊर्जा मिलने लगी है। इससे मानसून तेजी से आगे बढ़ने लगा है।
मौसम विज्ञानियों के मुताबिक रविवार को पूरे मध्य प्रदेश पर छा गया है। इंदौर में मानसून के आगमन की तय तारीख 22 से 23 जून है।
इस वर्ष इसमें दो दिन देरी हुई है। इंदौर में जहां दिनभर बादल छाए रहे, वहीं उज्जैन, इंदौर, भोपाल, नर्मदापुरम, जबलपुर, कटनी शहडोल, रीवा, सागर, ग्वालियर, चंबल संभाग के जिलों में गरज-चमक के साथ तेज बौछारें पड़ीं। रुक-रुककर वर्षा का दौर अगले तीन-चार दिनों तक जारी रह सकता है। सोमवार को छिंदवाड़ा, सिवनी जिलों में अतिवृष्टि की चेतावनी दी है।
इस दौरान कहीं-कहीं भारी वर्षा भी हो सकती है। मौसम विज्ञानियों के मुताबिक इस वर्ष शहर में वर्षा सामान्य रहने की संभावना है।
अगले तीन से चार दिन वर्षा से तरबतर होगा कटनी
कटनी में हल्की वर्षा का असर दिखाई दे रहा है। इंदौर में सोमवार को मध्यम वर्षा होने की संभावना है। वही मंगलवार की रात शहर में वर्षा होगी जो बुधवार व गुरुवार तक जारी रहेगी।
सुबह साढ़े आठ बजे से शाम साढ़े पांच बजे तक जबलपुर में 22.2, गुना में 16, खजुराहो में 8.8, रायसेन में पांच, मलाजखंड में पांच, मंडला, सागर एवं शिवपुरी में तीन, ग्वालियर में 0.1 मिलीमीटर वर्षा हुई। राजधानी में भी शाम पांच बजे से झमाझम का दौर शुरू हो गया था।
इन चार मौसम प्रणालियों के असर से मानसून को मिल रही ऊर्जा
1- वर्तमान में उत्तर-पश्चिम बंगाल की खाड़ी एवं उससे लगे ओडिशा एवं पश्चिम बंगाल पर एक कम दबाव का क्षेत्र बन गया है।
2- चक्रवात बिपर्जय कमजोर पड़ने के बाद हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात के रूप में दक्षिणी उत्तर प्रदेश पर बना हुआ है।
3- पूर्व-पश्चिम ट्रफ उत्तरी पंजाब से ओडिशा के आसपास बने कम दबाव के क्षेत्र तक बना है, जो उत्तर प्रदेश, उत्तर-पश्चिमी मप्र और छत्तीसगढ़ से होकर ओडिशा तक जा रहा है।
4- अरब सागर एवं उससे लगे गुजरात पर हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात बना हुआ है।
जून में अब तक वर्षा
औसत वर्षा : 147.3 मिमी
अब तक हुई : 81.6 मिमी
सर्वाधिक कुल मासिक वर्षा : 1980 में 430 मिमी
24 घंटे में सर्वाधिक वर्षा : 23 जून 2003 को 127.3 मिमी
कटनी में तापमान गिरा
अधिकतम : 29 डिग्री (सामान्य से पांच डिग्री कम)
न्यूनतम : 24.7 डिग्री (सामान्य से एक डिग्री कम)
1961 के बाद पहली बार दिल्ली-मुंबई में साथ पहुंचा मानसून
पिछले 24 घंटे में बहुत तेजी से आगे बढ़ते हुए एनसीआर समेत हरियाणा के कुछ हिस्सों में मानसून सक्रिय हो गया है। इसमें खास बात यह भी रही कि 62 साल बाद मुंबई और दिल्ली में एक साथ मानसून ने दस्तक दी है। मुंबई में दो हफ्ते की देरी और दिल्ली में दो दिन पहले मानसून पहुंचा है। इससे पहले 21 जून, 1961 को ऐसा हुआ था।भारतीय मौसम विभाग (आइएमडी) का पूर्वानुमान है कि अगले दो दिनों में मानसून पूरे देश में सक्रिय हो जाएगा। इसके पहले मानसून के दिल्ली में 28-29 जून तक दस्तक देने का अनुमान था। मानसून की इस तेजी से खरीफ खासकर धान को राहत मिलेगी और रोपाई में तेजी आएगी।